बस्ती उत्तर प्रदेश:- आशाओं की लापरवाही देखते हुए जिला अधिकारी प्रियंका निरंजन बहुत सख्त दिख रही हैं कल हुए बैठक में उन्होंने यह आदेश दे दिया कि कार्यों में लापरवाही के चलते 15 दिन के भीतर 18 आशा कार्यकर्ताओं की सेवा और समाप्त किया जाएगा। निष्कासन के लिए चयनित कर लिया गया है। डीएम प्रियंका निरंजन ने इनके सेवा समाप्ति की प्रक्रिया पूर्ण करने के निर्देश भी दिए जा चुके हैं। इसके पहले भी आधा दर्जन आशा कार्यकर्ताओं की सेवा समाप्त की जा चुकी है। डीएम शनिवार को कलक्ट्रेट सभागार में आयोजित जिला स्वास्थ्य समिति की बैठक ले रही थीं। उन्होंने कहा कि आशाओं के रिक्त 61 पर नियुक्ति प्रक्रिया को आगे बढ़ाई जाए। इस आशय के शासनादेश प्राप्त हो चुके हैं। उन्होंने मानक के अनुरूप कार्य न करने वाले कुदरहा एवं भानपुर के प्रभारी चिकित्सा अधिकारियों को सुधार लाने की हिदायत दी। ब्लॉक दिवस पर ब्लॉक शिक्षा अधिकारी, प्रभारी चिकित्सा अधिकारी तथा सीडीपीओ भी उपस्थित रहे। ग्राम स्वास्थ्य एवं पोषण दिवस के अवसर पर ही पोषाहार वितरित किया जाए। कहा कि 7 से 12 अगस्त तक सघन टीकाकरण अभियान संचालित किया जाएगा। इसकी तैयारी अभी से शुरू कर दें। प्रत्येक गांव में बुलावा टोली गठित की जाए। वह घर-घर जाकर टीकाकरण से वंचित बच्चों को केंद्र पर लाएगी। निर्देश दिया कि जिला अस्पताल, जिला महिला अस्पताल का नियमित रूप से प्रत्येक सप्ताह एक वरिष्ठ अधिकारी अवश्य जांच करेंगे।
सीडीओ, एडीएम, सीआरओ तथा सीएमओ का रोस्टर जारी किए जाने का निर्देश भी दिया। उन्होंने कहा कि प्रत्येक प्राइवेट अस्पताल की भी जांच कराई जाए। एक ही डॉक्टर द्वारा दो से अधिक नर्सिंग होम संचालित करने वाले व्यक्ति को चिकित्सा माफिया घोषित कराए। प्रभारी चिकित्सा अधिकारीगण अपने क्षेत्र के प्राइवेट नर्सिंगहोम पर सतर्क निगाह रखें। आशा प्राइवेट अस्पताल में डिलीवरी केस न ले जाने पाए। ऐसी आशाओं को चिह्नित कर उनके विरुद्ध कार्रवाई सुनिश्चित करें। बताया गया कि जून माह तक 80409 के सापेक्ष केवल 10264 संस्थागत डिलीवरी हुई है। इसमें से 3677 नर्सिंग होम में कराई गई है। जननी सुरक्षा योजना के अंतर्गत 11552 के सापेक्ष 7636 लाभार्थियों का भुगतान हुआ है। मेडिकल कॉलेज में 2390 लाभार्थियों का भुगतान अवशेष है।
18 आशा कार्यकर्ताओं की सेवा समाप्ति का आदेश, पूर्व में भी आधा दर्जन आशाएं कार्यमुक्त हुई
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