_अधीक्षक को बचाने में। किसी निर्णायक मोड़ पर नहीं पहुँच पायी विभागीय जाँच
_कटघरे में स्वास्थ्य विभाग व उसके रहनुमा
बस्ती, उत्तर प्रदेश – जनपद के हर्रैया तहसील मुख्यालय पर स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र हर्रैया में तैनात संविदा स्टाफ नर्स रागिनी राव ने सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र हर्रैया के अधीक्षक बृजेश शुक्ला पर गंभीर आरोप लगाते हुए उच्चाधिकारियों को पत्र लिखकर न्याय की गुहार लगायी है ।
उच्चाधिकारियों को भेजे पत्र में स्टाफ नर्स ने लिखा है कि अधीक्षक बृजेश शुक्ला द्वारा शोषण की मंशा से हमें लगातार परेशान किया जाता है और जाति सूचक शब्दों के माध्यम से भद्दी – भद्दी गालियाँ भी दी जाती हैं । पत्र में स्टाफ नर्स ने यहाँ तक लिखा है कि अधीक्षक के उत्पीड़न से तंग आकर मैने अपने स्थानान्तरण हेतु मुख्य चिकित्सा अधिकारी को पत्र दिया था परन्तु अधीक्षक ने सीएमओ कार्यालय में अपनी दखल देकर स्थानान्तरण नहीं होने दिया और तब से लगातार उत्पीड़न जारी है । उत्पीड़न की हद तब हो गयी जब अधीक्षक द्वारा स्टाफनर्स के ऊपर अपने साथ रहने का बार – बार दबाव बनाया जाने लगा। उच्चाधिकारियों को भेजे पत्र के माध्यम से पीड़िता ने न्याय की गुहार लगायी है हलाँकि मामला हाईप्रोफाइल होने के कारण अभी तक मामले में प्रथम सूचना रिपोर्ट भी नहीं दर्ज हो पाया है। सूत्रों की मानें तो प्रकरण में जाँच समिति बन चुकी है परन्तु समिति व जाँच अभी धरातल पर नदारद है।