मुंबई। 20 फरवरी 2022 को कांदिवली तेरापंथ भवन में श्री जैन श्वेतांबर तेरापंथ महिला मंडल मुंबई के तत्वावधान में तेरापंथ कन्यामंडल मुंबई द्वारा युगप्रधान आचार्यश्री महाश्रमणजी की विदुषी शिष्या साध्वीश्री राकेशकुमारीजी, साध्वीश्री मलयविभाजी, साध्वीश्री विपुलयशाजी और साध्वीश्री चेतस्वीप्रभाजी एवं डॉ. समणी मंजुल प्रज्ञाजी और डॉ. समणी अमृत प्रज्ञाजी के सानिध्य में ‘स्वR -एक साथ, एक गुंज’ कार्यक्रम का सफलतम आयोजन हुआ। साध्वीश्री ने नमस्कार महामंत्र से कार्यक्रम की मंगल शुरुआत की। कांदिवली कन्यामंडल ने मंगलाचरण किया और प्रभारी स्वीटी बोहरा ने सभी का स्वागत किया।
कार्यक्रम तीन चरणों मे आयोजित किया गया। प्रथम चरण में अखिल भारतीय तेरापंथ महिला मंडल एवं कन्यामंडल निर्देशानुसार फरवरी माह की नारीलोक एक्टिविटी REAL पर कार्यशाला रखी गयी। साध्वीश्री राकेशकुमारीजी ने अपने प्रेरणा पाथेय में फरमाया कि कन्याएं उज्जवल भविष्य की उजली भोर हैं और स्वस्थ समाज की रक्षक हैं। तपोबल, जपोबल से अपने आत्मविश्वास को मजबूत कर सही सोच, नई एप्रोच, संस्कार, संस्कृती, विनय, विवेक और शालीनता के साथ हमारी कन्याएं उंची उड़ान भर सकती हैं। कन्याओं को प्रेरित करते हुए उन्होंने बताया की भोग से त्याग की ओर, राग से वीतरागता की ओर कदम बढ़ाकर ही हम 2023 में मुंबई की धरा पर गुरूदेव का आध्यात्मिक स्वागत कर सकते हैं। इसी चरण में सभी एरिया हेड्स के बीच में ‘टशन -लेट्स बी रियल’ प्रतियोगिता भी रखी गयी, जिसमें REAL के विषयों और मुंबई कन्यामंडल की दो वर्षीय कार्यकाल टेगलाईन ‘सोच सही, approach नई’ को मिलाकर कन्याओं को तीन मिनिट की एक प्रस्तुती देनी थी। प्रतियोगिता की निष्पक्ष निर्णायक रही महिला मंडल पूर्वाध्यक्ष श्रीमती सुनिताजी परमार एवं अध्यक्षा रचनाजी हिरण और विजेता रही एरिया हेड नेहा सोलंकी और उनकी सांताक्रूज, बांद्रा और साउथ मुंबई की टीम। द्वितीय रही पनवेल, नेरूल, वाशी, कोपरखैरने और उनकी एरिया हेड निकिता कोठारी। सांत्वना पुरस्कार जीता साकीनाका, कांजुरमार्ग, थाना(K.C.W.) और उनकी एरिया हेड खुशी बाफना ने। रचनाजी ने कन्याओं को संबोधित करते हुए कहा की हम कितने ही ऊँचे पद पर पहुँच जाएं हमें हमारे रिश्तों की डोर को मज़बूती से थामे रखना है। काम-केरियर को प्राथमिकता देनी चाहिए पर अपनी आत्मा को भी हमें नहीं भूलना है। कन्याओं को प्रेरणा देते हुए उन्होंने कहा की हमें हफ़्ते में कम से कम एक बार चारित्र आत्माओं के दर्शन ज़रूर करने चाहिए।
द्वितीय चरण में मुंबई कन्यामंडल ने अपनी महत्त्वाकांक्षी परियोजना स्वस्तिकोत्सव का बैनर ड्रोन के द्वारा सभागार में प्रस्तुत किया। बैनर अनावरण के साथ ही प्रोजेक्टर पर विडियो के रूप में स्वस्तिकोत्सव गान प्रस्तुत किया गया। प्रभारी जूली मेहता ने स्वस्तिकोत्सव की जानकारी देते हुए बताया की महातपस्वी आचार्यश्री महाश्रमणजी के मुंबई चातुर्मास को केंद्र में रखते हुए यह परिकल्पना की गयी। उन्होंने आगे कहा की मार्च महिने से शुरु होने वाले स्वस्तिकोत्सव के चार स्तंभ है जप, तप, सेवा और स्वाध्याय। जप स्तंभ के अंतर्गत कन्याओं द्वारा प्रतिदिन नमस्कार महामंत्र की माला फेरने का क्रम चलेगा। तप में अखंड उपवास का क्रम शुरू किया जायेगा। सेवा स्तंभ में चारित्र आत्माओं की विहार सेवा में कन्याओं की सहभागिता और स्वाध्याय में आवश्यक आध्यात्मिक ज्ञान के शुद्धिकरण और कंठस्थीकरण को लक्षित किया जायेगा। डॉ. समणी मंजुल प्रज्ञाजी ने अपने मंगल उद्बोधन में फरमाया की जिस तरह दही को जितना मथा जाए, पान को जितना चबाया जाए और चंदन को जितना घिसा जाए उसका गुण उतना ही बढता है उसी प्रकार त्याग-तप से मनुष्य का मूल्य बढता है। उन्होंने कहा की स्वस्तिकोत्सव एक अच्छा उपक्रम है और हमे यह समझना होगा की जप, तप, सेवा और स्वाध्याय बाहर रहकर नहीं होता इनके लिए भीतर में आना होगा, स्वयं को समर्पित करना होगा।
कार्यक्रम के तृतीय चरण में कन्यामंडल द्वारा आयोजित त्याग सिरिज के परिणाम की घोषणा की गयी। इस सिरिज में कन्याओं को अष्टमी-चतुर्दशी के दिन जमीकंद त्याग, शनिवार को सामायिक और पक्खी प्रतिक्रमण करना था। चार माह से चल रही इस सिरिज में कन्याओं की संख्या और सहभागिता के आधार पर क्षेत्रों का मुल्यांकन किया गया। इसमें प्रथम मुलूंड, द्वितीय ऐरोली और तृतीय पनवेल और साकिनाका कन्यामंडल। महिला मंडल मंत्री अल्काजी मेहता ने अपने भावुक और प्रेरणादायक वक्तव्य में कहा की इन कन्याओं की लगन और आत्मविश्वास के कारण ही आज के इस कार्यक्रम का सफलतापूर्वक आयोजन हो पाया।
स्व. राजमलजी राठौड़ के पुत्र, श्रीमान बाबुलालजी, वसंतीलालजी, रमेशजी एवं समस्त राठौड़ परिवार गोरेगाँव(चारभुजा) कार्यक्रम के प्रायोजक रहे।
वेन्यू के लिए श्री तुलसी महाप्रज्ञ फाउंडेशन के अध्यक्ष श्रीमान के.एल.परमारजी का विशेष सहयोग मिला।
कन्यामंडल सह-संयोजिका जिज्ञा सिसोदिया, काजल मादरेचा, कमिटी मेंबर्स वृतिका डूंगरवाल, सुरभि परमार, खुशबू कोठारी, अंजलि इंटोदिया, हेतल कच्छारा, निकिता चौहान, उर्जिता बाफना, सिमरन बंब, दिशा दुग्गर, निशा कोठारी, लब्धि सिसोदिया, दिप्ती सिंयाल, दर्शिका बंबोली, प्रेक्षा जैन, दिव्या कोठारी और कांदिवली कन्यामंडल का विशेष सहयोग रहा।
महिला मंडल से पूर्वाध्यक्ष श्रीमती कांताजी तातेड, उपाध्यक्ष विमलाजी कोठारी, सहमंत्री संगीताजी चपलोत, सरोजजी सिंघवी, कार्यसमीति सदस्य पिंकी सांखला, फाउंडेशन के मंत्री बाबुलालजी राठौड़, कोषाध्यक्ष मोहनजी डागा, तेरापंथी सभा कांदिवली के अध्यक्ष जंवरीलालजी नौलखा, मंत्री चांदमलजी कुमठ की गरिमामयी उपस्थिती रही।
कार्यक्रम का कुशल संचालन सह प्रभारी नूतन लोढ़ा एवं नीलम कोठारी ने किया। संयोजिका किंजल संचेती ने आभार ज्ञापन किया। 200 से अधिक कन्याओं, प्रभारी व सह प्रभारियों की सराहनीय उपस्थिती रही।
मुंबई कन्यामंडल के स्वर की गुंज से गुंजा मुंबई का आसमां
Leave a comment
Leave a comment