इस्लामाबाद:पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट ने पीएम इमरान खान को लताड़ लगाई है। इमरान खान को कोर्ट ने सेना द्वारा संचालित एक स्कूल पर 2014 के आतंकी हमले की सुनवाई के दौरान सवालों के घेरे का सामना करना पड़ा है। सुप्रीम कोर्ट ने इमरान खान से पूछा है कि वह सैकड़ों लोगों की मौत के दोषियों के साथ क्यों बातचीत कर रहे हैं। कोर्ट ने कहा है कि सरकार को बच्चों के माता-पिता की बात सुननी चाहिए और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। जस्टिस अमीन ने कहा है कि आप हत्यारों को बातचीत के मेज पर ला चुके हैं। क्या हम दोषियों के साथ एक बार फिर साइन करने वाले हैं?
बता दें कि 2014 में पेशावर स्थित आर्मी पब्लिक स्कूल में तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान के आतंकियों ने हमला कर दिया था। उस हमले में 147 लोगों की मौत हो गई थी। मारे गए कुल 147 लोगों में से 132 बच्चे थे।
मामले को लेकर इमरान खान ने कोर्ट को भरोसा दिलाया है कि सरकार न्याय करेगी। उन्होंने आगे कहा है कि वह पीड़ित परिवारों से मिलते रहे हैं और ऐसा करना जारी रखेंगे। इमरान खान ने कहा है कि पता करना होगा कि 80 हजार लोग क्यों मारे गए? इसके साथ ही यह भी पता करना चाहिए कि पाकिस्तान में हो रहे 480 ड्रोन हमलों के लिए कौन जिम्मेदार है?
इमरान खान के इस सवाल पर सुप्रीम कोर्ट ने फिर से फटकार लगाते हुए कहा है कि यह पता लगाने का काम आपका है। प्रधानमंत्री के तौर पर इन सवालों के जवाब आपके पास होने चाहिए। काफी फजीहत करवाने के बाद इमरान खान ने कहा है कि वह स्कूल पर हुए हमले को लेकर एक उच्च स्तरीय आयोग का गठन कर सकते हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने इमरान खान के इस जवाब पर भी डांटते हुए कहा है कि हमने पहले से ही आयोग का गठन किया हुआ है। 20 अक्टूबर को हमारे आदेश में साफ कहा गया है कि नरसंहार के लिए कौन जिम्मेदार है, सरकार को इसका पता लगाना चाहिए और उनके खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। कोर्ट ने इमरान को याद दिलाते हुए कहा कि हमले को सात साल बीत चुके हैं। पाकिस्तान कोई छोटा देश नहीं है। हमारे पास दुनिया की छठी सबसे बड़ी सेना है।