नई दिल्ली:प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मॉरिशस के उनके समकक्ष प्रविंद जगन्नाथ ने मिलकर मॉरिशस में सुप्रीम कोर्ट की एक नई इमारत का उद्घाटन किया, इसका निर्माण भारत के सहयोग से हुआ है। इस मौके पर पीएम मोदी ने कहा कि पोर्ट लुईस में सुप्रीम कोर्ट की नई इमारत भारत-मॉरीशस के सहयोग और साझा मूल्यों की प्रतीक है। पीएम ने इस दौरान चीन पर भी इशारों में निशाना साधा।
वीडियो कॉन्फ्रेंस से जरिए उद्घाटन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि विकास के प्रति भारत का रूख मानव केंद्रित है। हम मानवता के कल्याण के लिए काम करना चाहते हैं। इतिहास हमें बताता है कि विकासात्मक गठजोड़ के नाम पर देशों को निर्भर रहने वाले गठजोड़ के लिए मजबूर किया गया। इसने उपनिवेशवाद और साम्राज्यवादी शासन को बढ़ावा दिया। इसने वैश्विक सत्ता ब्लॉक को बढ़ावा दिया।
माना जा रहा है कि पीएम मोदी ने यह चीन के संदर्भ में कहा है। चीन ने कई देशों को विकास के नाम पर अपने कर्ज जाल में फंसाया और फिर उन्हें अपनी शर्तें मानने को मजबूर कर रहा है। पाकिस्तान, श्रीलंका से लेकर अफ्रीका तक के कई मुल्क चीन की इस नीति का शिकार हो चुके हैं। दूसरी तरफ भारत ने हमेशा मित्र राष्ट्रों की बिना कोई शर्त मदद की है।
पीएम मोदी ने कहा कि भारत का विकास आधारित गठजोड़ का नजरिया सम्मान, विविधता, भविष्य का ध्यान रखने और सतत विकास पर आधारित है। भारत के लिए ऐसे गठजोड़ की बुनियाद हमारे सहयोगियों के प्रति सम्मान पर आधारित है। मोदी ने कहा, ”इसलिए हमारे विकास सहयोग के मार्ग में कोई शर्त नहीं आती है।”
प्रधानमंत्री मोदी ने भारत और मॉरिशस के संबंधों को विशेष बताया और आने वाले वर्षों मे इसे और गहरा बनने की उम्मीद जताई। इस अवसर पर मॉरिशस के प्रधानमंत्री प्रविन्द जगन्नाथ ने कहा कि भारत और मॉरिशस के संबंधों में यह नया आयाम जुड़ा है। दोनों देशों के संबंध साझा अतीत, मूल्यों और संस्कृति पर आधारित है। हमारे संबंध बेहद गहरे हैं और पिछले कुछ वर्षो में यह और मजबूत हुए हैं।
इससे पहले, प्रधानमंत्री मोदी और मॉरिशस के प्रधानमंत्री ने संयुक्त रूप से अक्टूबर, 2019 में मॉरिशस में मेट्रो एक्सप्रेस परियोजना के फेज-1 और नई ईएनटी अस्पताल परियजोना का शुभारम्भ किया था। इन्हें भी विशेष आर्थिक पैकेज के अंतर्गत बनाया गया है।