नई दिल्ली:पाकिस्तान में चीनी दूतावास के प्रवक्ता ने भारतीय और चीनी सीमा पर सैनिकों के बीच गतिरोध को जम्मू कश्मीर में धारा 370 हटाए जाने से जुड़ा बताया है। वांग जियानफ़ेंग जिनके ट्विटर बायो के अनुसार, वे इस्लामाबाद में चीनी मिशन में प्रेस अधिकारी हैं। उन्होंने ट्वीट कर चीन के राज्य मंत्रालय या मुख्य खुफिया एजेंसी से जुड़े एक प्रभावशाली थिंक टैंक के एक विद्वान का एक लेख पोस्ट किया है। इस लेख में कहा गया है कि भारत-चीन सीमा तनाव और कश्मीर की स्थिति में बदलाव के बीच कोई लिंक है।
वांग ने ट्वीट किया कि भारत ने कश्मीर की यथास्थिति को एकतरफा बदलने और क्षेत्रीय तनावों को जारी रखने के लिए चीन और पाकिस्तान की संप्रभुता को चुनौती दी है और भारत-पाकिस्तान संबंधों और चीन-भारत संबंधों को और अधिक जटिल बना दिया है।
घटनाक्रम से परिचित लोगों ने कहा कि वांग पाकिस्तानी मीडिया के साथ संबंध बनाने का काम करते हैं। हालांकि यह ट्वीट उनकी व्यक्तिगत राय हो सकती है, लेकिन यह पहली बार है जब किसी चीनी अधिकारी ने कश्मीर की स्थिति में बदलाव के साथ सीमावर्ती गतिरोध को जोड़ने की बात कही है। इसमें लद्दाख के केंद्र शासित प्रदेश का निर्माण भी शामिल है, जो चीन के साथ विवाद का मुद्दा है।
बीते मंगलवार को पूर्वी लद्दाख के पास वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के नजदीक भारत और चीन के बीच पिछले कुछ समय से चला आ रहा विवाद थमता नजर आया। पूर्वी लद्दाख में गलवान समेत तीन जगहों से भारत और चीन की सेनाएं पीछे हट गई। चीन की पीपुल्स लिबेरशन आर्मी ने गलवान इलाका, पेट्रोलिंग प्वॉइंट 15 और हॉट स्प्रिंग इलाके से अपनी सेना और वाहनों को ढाई किलोमीटर पीछे लेकर चले गए हैं। भारत ने भी अपने कुछ सैनिकों की वापसी की है।