अमराईवाडी। अखिल भारतीय तेरापंथ महिला मंडल के तत्वावधान में तेरापंथ महिला मंडल अमराईवाडी द्वारा चार भावनाओं पर सामयिक संगोष्ठी का आयोजन तेरापंथ भवन में किया गया। कार्यक्रम की मंगल शुरुआत मंगलाचरण के द्वारा महिला मंडल की बहनों ने की। अध्यक्षा श्रीमती संगीता सिंघवी ने स्वागत वक्तव्य देते हुए विषय पर अपने विचार व्यक्त किए तथा केंद्र द्वारा निर्देशित अन्य कार्यक्रम जैसे आयम्बिल अनुष्ठान, सदस्य गणना अभियान, बिजनेस वूमेन नेटवर्क, भावना चौका, नारीलोक प्रश्नोतरी, ब्रेनवीटा क्विज, चौबीसी, भक्तामर कंठस्थ आदि की जानकारी देते हुए सभी को इन कार्यक्रमों में संभागी बनने की प्रेरणा दी।
उपासिका श्रीमती मंजूजी गेलड़ा ने बताया कि संसार नाशवान है, यहां कोई अमर नहीं है, धन वैभव सब पीछे छूटने वाला है। जिसके पीछे हम रात दिन दौड़ते रहते हैं वह सब यहीं रह जाएगा। धर्म ही सच्चा सहारा है।संसार में कोई भी किसी को शरण देने वाला नहीं है।रोग मृत्यु बुढ़ापे से कोई भी बच नहीं पाएगा। संसार में हर व्यक्ति दुखी हैं। जिसने यह समझ लिया कि संसार असार है, वह व्यक्ति ही सुखी हो सकता है। जीव अकेला आया है और अकेला ही जाएगा। अपने कर्मों के कारण ही वह सुख और दुख को प्राप्त करता है। अपने कर्मों का फल उसे स्वयं को ही भोगना पड़ता है। चारों ही भावनाओं को स्टोरी के माध्यम से बहुत ही अच्छी तरीके से समझाया और अंत में कहा कि हमें अपनी भावनाओं को प्रवर्धमान करना है। आनंद पूर्वक आध्यात्मिक जीवन जीना है।
तत्पश्चात मंडल की कोषाध्यक्ष श्रीमती सुनीताजी चौरडिया ने मंडल का आय-व्यय प्रस्तुत किया। 15 बहनों की उपस्थिति रही। आज की यह संगोष्ठी सभी बहनों को बहुत अच्छी लगी। बहुत ही आनंद आया और आध्यात्मिकता से भरपूर थी। आगे भी ऐसे ही कार्यक्रम होते रहें, ऐसी सभी बहनों की इच्छा है। कार्यक्रम का कुशल संचालन मंत्री श्रीमती लक्ष्मीजी सिसोदिया ने तथा आभार ज्ञापन उपाध्यक्ष श्रीमती शशिजी ओस्तवाल ने किया।
अमराईवाड़ी में चार भावनाओं पर सामयिक संगोष्ठी का आयोजन
Leave a comment
Leave a comment