नई दिल्ली: वायुसेना प्रमुख बीएस धनोआ के घर के बाहर राफेल विमान की रेप्लिका लगाई गई है। धनोआ का घर 24, अकबर रोड पर स्थित कांग्रेस मुख्यालय के ठीक सामने है। इससे पहले वायुसेना प्रमुख के इस आवास के बाहर सुखोई विमान का मॉडल था, जो कुछ महीने पहले ही हटाया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फ्रांस सरकार के साथ राफेल डील की है। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने लोकसभा चुनाव में मोदी सरकार पर राफेल में घोटाले को लेकर आरोप लगाए थे।
पहला राफेल एयरक्राफ्ट भारतीय वायुसेना के ‘गोल्डन एरो’ 17 स्क्वाड्रन में शामिल होगा। इस यूनिट का नेतृत्व 1999 में करगिल युद्ध के दौरान एयरचीफ मार्शल बीएस धनोआ ने किया था। यह यूनिट पहले पंजाब के बठिंडा में मौजूद थी। अब इसे हरियाणा के अम्बाला में स्थानांतरित किया गया है।
सितंबर में मिलेगी राफेल की पहली खेप
भारतीय वायुसेना को सितंबर 2019 में राफेल विमानों की पहली खेप मिलेगी। इसमें चार लड़ाकू विमान शामिल होंगे। हालांकि इससे पहले इन विमानों को भारतीय वातावरण में 1500 घंटों की उड़ान भरना होगी। ऐसे में चार विमानों की पहली बैच को अम्बाला पहुंचने में मई 2020 तक का समय लग जाएगा।
36 राफेल विमानों को लेकर समझौता हुआ
अम्बाला बेस में जगुआर एयरक्राफ्ट स्क्वाड्रन तैनात है। इसका जिम्मा पाकिस्तान की ओर से होने वाली हलचलों को देखना है। इसके पहले एक स्क्वाड्रन को उत्तरप्रदेश के सारस्वत एयरबेस में तैनात करने की कोशिश की गई थी, जो जमीन अधिग्रहण मामले के चलते रद्द हो गई थी। सितंबर 2016 में भारत ने फ्रांस सरकार और दसॉल्ट एविएशन के साथ 36 राफेल विमानों को लेकर समझौता किया था।