नई दिल्ली: नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल (एनसीएलएटी) ने एक अवमानना याचिका पर रिलायंस ग्रुप के चेयरमैन अनिल अंबानी से 10 दिन में जवाब मांगा है। अल्पांश शेयरधारकों ने याचिका दायर की थी। उन्होंने अनिल अंबानी और उनके ग्रुप की कंपनियों के अधिकारियों पर बकाया नहीं चुकाने का आरोप लगाया है।
20 मई को अगली सुनवाई होगी
एचएसबीसी डेजी इन्वेस्टमेंट्स (मॉरिशस) और दूसरे अल्पांश शेयरधारकों का कहना है कि रिलायंस इन्फ्राटेल ने 230 करोड़ रुपए के भुगतान में डिफॉल्ट कर अंडरटेकिंग का उल्लंघन किया।
अपीलेट ट्रिब्यूनल ने कहा है कि अनिल अंबानी का जवाब मिलने के बाद एक हफ्ते के अंदर अपीलकर्ता अपनी बात रख सकेंगे। इस मामले की अगली सुनवाई 20 मई को होगी।
सुनवाई के दौरान एचएसबीसी डेजी के वकील ने कहा कि एनसीएलएटी ने 29 जून 2018 को अंडरटेकिंग के संबंध में आदेश जारी किया था। इसका उल्लंघन करना अदालत की अवमानना है।
रिलायंस इन्फ्राटेल-एचएसबीसी डेजी और अन्य के बीच एग्रीमेंट की शर्तों के मुताबिक अनिल अंबानी की कंपनी को भुगतान करना था। एनसीएलएटी ने जून 2018 में आदेश दिया था कि 6 महीने में भुगतान किया जाए। लेकिन रिलायंस इन्फ्राटेल ने रकम नहीं चुकाई।
अवमानना याचिका पर दिवालिया अदालत ने अनिल अंबानी से 10 दिन में जवाब मांगा
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