मुम्बई। अणुव्रत समिति मुम्बई द्वारा आतिशबाज़ी को कहे ना कार्यक्रम अध्यक्ष रमेश चौधरी की उपस्तिथि में घाटकोपर के जॉगर्स पार्क में आयोजित किया गया। रमेश चौधरी ने बताया कि आतिशबाज़ी से छोटे छोटे जीव जंतुओं की अकाल मृत्यु हो जाती है,पशु पक्षी भयभीत रहते है, शारीरिक हानि के साथ साथ आर्थिक हानि भी होती है, पटाखे के कारखानों में छोटे छोटे मासूम बच्चे काम करते है वहा होने वाली आगजनी की घटना के शिकार होते है।
प्रकोष्ठ पर्यवेक्षक रमेश धोका ने किसी भी प्रकार की आतिशबाज़ी नही करने पर जोर दिया तथा आजीवन आतिशबाज़ी नही करने के उपस्थित नागरिको को त्याग दिलाया तथा महासमिति के इस अभियान को जन जागृति के माध्यम से जन जन तक पहुचाने के लिए प्रेरित किया।
संयोजक दीपेश सिंघवी ने बताया कि सुरेश राठौड़, लोकेश डांगी, चंद्रप्रकाश बोहरा, भीमराज सुराणा, नीलेश राठौड़, ओमजी लोढा, अर्जुन जैन, निर्मल चौधरी, राजेश धाकड़, दिनेश जैन, श्रवण चोरडिया, नरेश सुराणा, हीरालाल बाफना, दिनेश जैन, मोडिलाल दुग्गड़, हस्तीमल गोखरू, दिलीप कोठारी, संजय सोनी के साथ सह संयोजक नरेश बाफना ने बताया कि भावना चपलोत, रुचिता चौधरी, रेखा सोनी, पुष्पा सोनी, राकेश वडाला, अनिल चपलोत, विनोद चंडालिया, मणि लाल पटेल, जितेश धाकड़, कांति छेड़ा, समीरदास, योगेश पांडे, तानाजी सूर्य वंशी, महेश सावरकर तथा राष्ट्रीय स्वयं सेवक के कार्यकर्ताओं की विशेष उपस्तिथि थी। यह जानकारी अणुव्रत समिति मंत्री चेतन कोठारी ने दी।
अणुव्रत समिति मुंबई का ‘आतिशबाज़ी को कहे ना’ का आयोजन
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