नई दिल्ली:केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने गुरुवार को ‘मी टू’ अभियान के तहत मशहूर हस्तियों पर यौन शोषण का आरोप लगाने वाली महिलाओं का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि उन महिलाओं के साथ इंसाफ होना चाहिए जो अपनी बात रख रही हैं। ईरानी ने कहा कि मैंने इस खास मुद्दे पर बार-बार कहा है कि विशेष तौर पर अपनी आपबीती सामने रख रही महिलाओं को किसी भी तरह शर्मिंदा नहीं होना चाहिए। उन्हें परेशान नहीं किया जाना चाहिए और उनका मजाक नहीं उड़ाया जाना चाहिए। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि महिलाएं उत्पीड़न का शिकार बनने नहीं बल्कि अपने सपने को साकार करने, सम्मानजनक जिंदगी जीने के लिए काम करने जाती हैं।
ईरानी ने कहा कि इसलिए, मैं आज यहां कहूंगी कि अपने पेशेवर जिंदगी में महिलाओं के साथ जो कुछ हुआ, उसके बारे में सामने आकर बोलना बहुत मुश्किल भरा होगा। लेकिन हमारे समाज में इस वक्त अहम बात है कि अधिकाधिक महिलाओं को समर्थन मिल रहा है ताकि वे बोल सके। उन्होंने कहा कि मैं महसूस करती हूं कि हमारे न्यायिक और पुलिस तंत्र में इंसाफ के पर्याप्त उपाय हैं और मैं आशान्वित हूं कि जो महिलाएं बोल रही हैं उन्हें उचित प्रक्रिया के तहत इंसाफ मिलेगी जिसकी वे हकदार हैं।
ईरानी ने अपने मंत्रिमंडल सहयोगी एमजे अकबर के खिलाफ लगे यौन उत्पीड़न के आरोपों पर कुछ भी कहने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा कि जिन सज्जन पर आरोप है उन्हें बयान जारी करना चहिए। लेकिन मेरा मानना है कि संबंधित सज्जन को बयान देना है न कि मुझे क्योंकि मैं व्यक्तिगत रूप से वहां नहीं थी। वहीं अकबर के इस्तीफे की मांग पर टिप्पणी करने से इनकार करते हुए भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि इस बारे में सरकार को निर्णय करना है।
महिलाओं का मजाक ना उड़ाया जाए, उन्हें इंसाफ मिलना चाहिए : स्मृति ईरानी
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