ठाणे। महातपस्वी आचार्य श्री महाश्रमण जी के आज्ञानुवर्ती शिष्य मुनि श्री अमृत कुमार जी और सहवर्ति मुनि श्री उपसम कुमार जी के सानिध्य में 261 वें तेरापंथ स्थापना दिवस पर ठाणे ज्ञानशाला द्वारा आयोजित की गई वेबिनार पर भिक्षु भक्ति।
भिक्षु भक्ति के कार्यक्रम की शुरुआत मुनि श्री अमृत कुमार जी के मंगल उद्बोधन से हुई । मुनि श्री ने फरमाया कि तेरापंथ स्थापना दिवस पर ठाणे ज्ञानशाला द्वारा यह बहुत ही अच्छा प्रयास है कि हम ने ऑनलाइन पर भिक्षु भक्ति का आयोजन किया है।
मंगलाचरण ठाणे ज्ञानशाला के बाल कलाकार पार्थ दुग्गड द्वारा की गई। स्वागत ज्ञानशाला की मुख्य प्रशिक्षिका श्रीमती भारती जी सिंघवी द्वारा किया गया।
ज्ञानशाला के सभी बच्चों द्वारा बहुत ही सुंदर और सुमधुर भिक्षु स्वामी की और तेरापंथ से संबंधित गीतिकाओ द्वारा भक्ति में नया रंग भर दिया। सभी बच्चों ने बड़े उत्साह से इस भक्ति में भाग लिया और सभी अभिभावकों ने भी सभी बच्चों का उत्साहवर्धन किया।
उपासिका श्रीमती प्रतिभा जी चोपड़ा द्वारा ज्ञानशाला के लिए विचार व्यक्त कर कहा सच में यह ज्ञानशाला द्वारा एक अच्छा प्रयास है ऑनलाइन भिक्षु भक्ति का । और ऐसे ही नए-नए टेक्निक से ज्ञानशाला मैं अच्छा प्रयास कराया जा रहा है।
तेरापंथी सभा ठाणे के नवनिर्वाचित सभा अध्यक्ष उपासक श्रीमान जयंतीलाल जी बरलोटा जी, मुंबईअणुव्रत समिति के कोषाध्यक्ष श्रीमान रमेश जी सोनी, श्रीमान नवरत्न जी दुग्गड, सभी ने ज्ञानशाला को उत्तरोत्तर इसी तरह प्रगति की ओर ले जाएं ऐसे अपने विचार व्यक्त किए। ऑनलाइन भिक्षु भक्ति की सराहना की।मुंबई ज्ञानशाला की विशेष सहयोगी श्रीमती सुमन जी नवलखा, युवक परिषद ,महिला मंडल की संयोजिकाए एवं समाज के सभी परिवारों की ऑनलाइन भिक्षु भक्ति के कार्यक्रम में उपस्थिति रही।
कार्यक्रम के संचालन का कार्य श्रीमती अनीता जी धारीवाल ने बहुत ही सुंदर रूप से किया।
आभार ज्ञापन ज्ञानशाला के संयोजक श्रीमान सुभाष जी हिंगड़ ने किया।
ठाणे ज्ञानशाला में 261 वें स्थापना दिवस पर online भक्ति का आयोजन
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