नई दिल्ली:अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को खत्म करने के बाद कश्मीर घाटी की स्थिति का जायजा लेने के लिए दिल्ली से गये राहुल गांधी समेत विपक्षी दलों के 11 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को राज्य प्रशासन ने शनिवार को श्रीनगर हवाई अड्डे से बाहर जाने की अनुमति नहीं दी तथा प्रतिनिधिमंडल को वापस दिल्ली लौटना पड़ा। जम्मू-कश्मीर सरकार ने एक दिन पहले बयान जारी कर नेताओं से कहा था कि घाटी का दौरा नहीं करें क्योंकि इससे क्षेत्र में धीरे धीर लौट रही शांति और सामान्य जिंदगी में बाधा आएगी। नौ राजनीतिक दलों के नेता शनिवार दोपहर श्रीनगर पहुंचे लेकिन कुछ घंटे के अंदर ही उन्हें लौटना पड़ा। प्रतिनिधिमंडल के नेताओं ने सरकार पर बरसते हुए घाटी में ”सामान्य स्थिति होने के उसके दावे पर सवाल उठाए।
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने श्रीनगर हवाई अड्डे पर संवाददाताओं से कहा, ”सरकार ने मुझे आमंत्रित किया है। राज्यपाल ने कहा था कि मैं आमंत्रित हूं। अब जब मैं आया हूं तो वे कह रहे हैं कि आप नहीं आ सकते। सरकार कह रही है कि हर चीज सामान्य है इसलिए अगर हर चीज सामान्य है तो हमें बाहर जाने की अनुमति क्यों नहीं दे रहे। यह आश्चर्यजनक है। उनके साथ माकपा, भाकपा, द्रमुक, राकांपा, जद (एस), राजद, एलजेडी और टीएमसी के नेता भी थे। राहुल ने कहा, ”हम किसी भी ऐसे क्षेत्र में जाना चाहते हैं जहां शांति है और 10- 15 लोगों से बात करना चाहते हैं। अगर धारा 144 लागू है तो मैं अकेले जाना चाहता हूं, हमें समूह में नहीं जाना है। माकपा पोलित ब्यूरो की तरफ से जारी बयान में विपक्षी नेताओं को श्रीनगर में ”प्रवेश देने से मना करने पर सरकार की आलोचना की गई। बयान में आरोप लगाया गया कि यह संविधान में प्रदत्त ”अधिकारों पर दिन-दहाड़े डाका डालना है।
बयान में यह भी कहा गया था कि नेताओं का दौरा पाबंदियों का उल्लंघन है जो घाटी के कई इलाकों में लगाया गया है। जम्मू कश्मीर प्रशासन ने शुक्रवार रात को कहा था कि राजनीतिक नेताओं का दौरा घाटी के कई क्षेत्रों में लगायी गयी पाबंदियों का उल्लंघन होगा। विपक्षी दलों को घाटी नहीं जाने देने के प्रशासन के निर्णय के बारे में पूछे जाने पर जम्मू कश्मीर के प्रधान सचिव रोहित कंसल ने संवाददाताओं से शनिवार शाम को कहा कि ऐसे समय में शांति तथा कानून व्यवस्था कायम रखना एक प्राथमिकता है जब सीमा पार आतंकवाद का खतरा कायम है। कंसल ने कहा, ”उनसे घाटी का दौरा नहीं करने का अनुरोध किया गया था। विपक्ष के प्रतिनिधिमंडल ने बडगाम के जिलाधीश को लिखे एक पत्र उनके द्वारा जतायी गयी आशंकाओं तथा श्रीनगर हवाई अड्डे से प्रतिनिधिमंडल के बाहर जाने की आपत्ति को निराधार करार दिया।
प्रतिनिधिमंडल में कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद, आनंद शर्मा, के सी वेणुगोपाल, माकपा नेता सीताराम येचुरी, द्रमुक नेता तिरूचि शिवा, एलजेडी नेता शरद यादव, तृणमूल कांग्रेस नेता दिनेश त्रिवेदी, भाकपा नेता डी राजा, राकांपा के माजिद मेनन, राजद के मनोज झा एवं जद(एस) के डी कुपेन्द्र रेड्डी शामिल थे।
कश्मीर: विपक्षी दलों के प्रतिनिधिमंडल ने स्थिति सामान्य होने के सरकार के दावे पर सवाल उठाया
Leave a comment
Leave a comment