नई दिल्ली:सुरक्षा परिषद में फिर से पाकिस्तान की ओर से कश्मीर मुद्दा उठने के बाद आड़े हाथों लेते हुए भारत ने कहा कि वह ऐसी उम्मीद करता है कि पाकिस्तान की नई इमरान खान वाली सरकार क्षेत्र को आतंकवाद मुक्त करने में सकारात्मक भूमिका निभाएगी।
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थाई प्रतिनिधि सैयद अकबरुद्दीन ने बुधवार को पाकिस्तान की नई सरकार को सुझाव देते हुए कहा- “खास निपटारे (विवादों) के लिए जरूरत होती है सोच में खास इरादों की और खास कार्रवाई की।”
पाकिस्तान की संयुक्त राष्ट्र में स्थाई प्रतिनिधि की तरफ से सुरक्षा परिषद को 70 साल पहले कश्मीर पर मध्यस्थता करने के सुझाव की बात पर जोरदार तरीके से अकबरुद्दीन ने कहा- विफल कोशिशों को फिर से जिंदा करने का प्रयास जिसे लंबे समय से खारिज किया जाता रहा है, उससे न ही वो खास इरादे जाहिर होते हैं और न ही वह बातें।
अकबरुद्दीन ने कहा- हम यह उम्मीद करते हैं कि पाकिस्तान की नई सरकार विवादों में उलझने की बजाय दक्षिण एशिया को हिंसा और आतंक से मुक्त, सुरक्षित और विकसित बनाने में सकारात्मक भूमिका निभाएगी।
लोधी दशकों पुराने उस असफल प्रयासों का हवाला दे रही थी जब साल 1948 के संयुक्त राष्ट्र प्रस्तावना में कश्मीर विवाद की जांच और मध्यस्थता के लिए यूएन कमिशन फॉर इंडिया एंड पाकिस्तान (यूएनसीआईपी) का गठन कर इसके निपटारे की बात की गई थी।