वाशिंगटन:खाड़ी देश में बढ़े तनाव के बीच ईरान नें अमेरिका को चेताया है। ईरान ने कहा कि क्षेत्र में अमेरिकी हमले का करारा जवाब देंगे। ईरान की सेना ने कहा कि क्षेत्र में शुरू हुआ संघर्ष अनियंत्रित हो सकता है और अमेरिकी सैनिकों की जान खतरे में पड़ सकती है। वहीं अमेरिका ने ईरान को आगाह करते हुए कहा कि ईरान पर हमले को आखिरी क्षण में रद्द करने के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले को ईरान कमजोरी समझने की भूल न करे।
ईरानी सेना के शीर्ष कमांडर मेजर जनरल गोलाम अली राशिद ने कहा है कि ईरान अपने खिलाफ होने वाली किसी भी तरह की अमेरिकी सैन्य कार्रवाई का पूरा जवाब देगा। राशिद ने कहा कि अमेरिका, यहूदी और सऊदी गठबंधन के खिलाफ ईरान अपनी संप्रभुता, अस्तित्व तथा इस क्षेत्र की स्थिरता को बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है। अमेरिका को एक जिम्मेदार देश की तरह व्यवहार करना चाहिए और इस क्षेत्र में किसी भी तरह के गलत व्यवहार से बचना होगा। हम न तो युद्ध के पक्ष में थे और न ही हैं लेकिन अगर हम पर कोई हमला होता है तो अपने हितों की रक्षा बखूबी करेंगे। ईरान की सेना द्वारा एक शक्तिशाली अमेरिकी ड्रोन को मार गिराए जाने के बाद से क्षेत्र में तनाव बरकरार है। ट्रंप ने हमले का आदेश भी दे दिया था पर आखिरी मिनटों में उन्होंने इसे वापस ले लिया।
सेना हर परिस्थिति के लिए तैयार : बोल्टन
इस बीच अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जॉन बोल्टन ने ईरान को आगाह किया है। उन्होंने कहा कि तेहरान पर जवाबी हमले को आखिरी क्षणों में रद्द करने के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले को कमजोरी समझने की भूल न करे। बोल्टन ने कहा कि हमारी सेना में नई ऊर्जा है और वह हर परिस्थिति के लिए तैयार है। बोल्टन ने येरुशलम में इजरायली प्रधानमंत्री बेंजमिन नेतन्याहू के साथ बैठक से पहले कहा कि न ही ईरान को और न ही किसी अन्य शत्रु राष्ट्र को अमेरिका के विवेक को कमजोरी समझने की भूल करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि किसी ने भी उन्हें पश्चिम एशिया में हमले करने का लाइसेंस नहीं दिया है।
ड्रोन मामले में कानूनी कार्रवाई करेगा ईरान
ईरान ने कहा है कि जासूसी ड्रोन विमान मामले में देश के वायु क्षेत्र का उल्लंघन किए जाने के मसले पर वह अमेरिका के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करेगा। ईरानी राष्ट्रपति हसन रोहानी के प्रशासन में कानूनी मामलों के उपाध्यक्ष लाया जोनिदी ने कहा है कि ईरान अपने वायु, भूमि और समुद्री क्षेत्र का किसी भी तरह का उल्लंघन बर्दाश्त नहीं करेगा। अमेरिका ने ईरान के वायु क्षेत्र में अपने टोही विमान भेजकर अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन किया है।
अमेरिका ने भी हमले का आरोप लगाया
अमेरिकी गृह सुरक्षा विभाग ने भी चेतावनी दी कि ईरान अमेरिका के खिलाफ साइबर हमलों में तेजी ला रहा है। विभाग ने बताया कि ईरान से जुड़े लोग अमेरिकी उद्योगों और सरकारी एजेंसियों में साइबर हमले कर रहे हैं। इस दौरान हैकर विनाशकारी हमलों के जरिए पासवर्ड हासिल करने की कोशिश में लगे हैं। इसके साथ ही मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि ईरान भी अमेरिकी नौसेना के जहाज प्रणाली को हैक करने की कोशिश कर रहा है।
कई हफ्तों तक जारी रहेंगे हमले
– मीडिया रिपोर्ट कहा जा रहा है कि ये साइबर हमले कई हफ्तों तक जारी रहेंगे
– साइबर हमले के जरिए ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प को निशाना बनाया गया
– ईरान की मिसाइल प्रणाली का नियंत्रण इस्लामिक रिवोल्यूशनरी के पास ही है
– अमेरिका ने रिवोल्यूशनरी गार्ड कार्प पर ही जासूसी ड्रोन को गिराने का आरोप लगाया है
– साइबर हमले के बाद ईरान की मिसाइल प्रणाली निष्क्रिय हो गई थी
– हमले का इरादा प्रणाली को कुछ देर के लिए बंद कर देना था
परमाणु सौदे से बाहर निकलने के बाद बढ़ा तनाव
ईरान के परमाणु सौदे से अमेरिका के बाहर निकलने के बाद से दोनों देशों के बीच बढ़ा हुआ है। ईरान ने गुरुवार को अमेरिका के एक ड्रोन को मार गिराया था। ईरान का दावा है कि ड्रोन ने उसके हवाई क्षेत्र का उल्लंघन किया था। ड्रोन हमले के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने ईरान पर हमला करने के बात कही थी। बाद में उन्होंने हमले का विचार त्याग कर कहा कि अमेरिका अगले सप्ताह ईरान पर बड़े प्रतिबंध लगाएगा।