नई दिल्ली: बेनामी संपत्ति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आरोपी रॉबर्ट वाड्रा की अग्रिम जमानत याचिका स्वीकार कर ली गई है. दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने सोमवार को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में रॉबर्ट वाड्रा और उनके करीबी मनोज अरोड़ा दोनों को अग्रिम जमानत दे दी. वाड्रा और मनोज अरोड़ा दोनों फिलहाल अंतरिम जमानत पर थे. विशेष न्यायाधीश अरविंद कुमार ने पांच लाख रुपये के मुचलके और इतनी ही जमानत राशि जमा करने पर वाड्रा को राहत प्रदान की. अदालत ने कहा कि वाड्रा बिना पूर्व अनुमति के देश छोड़कर नहीं जाएंगे.
अदालत ने उन पर कुछ शर्तें भी लगाईं और कहा कि वह किसी साक्ष्य के साथ छेड़छाड़ नहीं करेंगे और मामले के किसी गवाह को प्रभावित नहीं करेंगे. कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के बहनोई वाड्रा पर लंदन में 19 लाख पाउंड के बंगले की खरीद में काले धन को सफेद में बदलने के आरोप हैं.
दरअसल, पिछली सुनवाई में कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद अग्रिम जमानत याचिका पर फैसला सुरक्षित रखा लिया था. हालांकि, ईडी ने राबर्ट वाड्रा की अग्रिम जमानत याचिका का विरोध किया था.
ईडी के वकील ने कोर्ट में कहा था कि राबर्ट वाड्रा के खिलाफ प्रयाप्त सबूत हैं. इसलिए वाड्रा को हिरासत में लेकर पूछताछ करना जरूरी है. वहीं दूसरी ओर रॉबर्ट वाड्रा के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने ईडी के सभी आरोपों को बेबुनियाद बताया था. इससे पहले रॉबर्ट वाड्रा की अग्रिम जमानत याचिका पर ईडी ने कोर्ट में जवाब दाखिल कर कहा था कि वाड्रा जांच में सहयोग नहीं कर रहे, ऐसे में उन्हें हिरासत में लेकर ईडी पूछताछ करना चाहती है.
आपको बता दें कि ईडी इस केस में रॉबर्ट वाड्रा से 7 बार पूछताछ कर चुकी है. वाड्रा पर देश से बाहर बेनामी संपत्ति रखने का आरोप है. इससे पहले राजस्थान और हरियाणा में जमीन के कई सौदों को लेकर भी वे आरोपों के घेरे में रहे हैं. इससे पहले ईडी ने अदालत को बताया था कि आयकर विभाग की एक अन्य जांच में मनोज अरोड़ा का नाम सामने आने के बाद उनके खिलाफ मनी लांड्रिंग का मामला दर्ज किया गया.
यह भी बताया था कि लंदन में रॉबर्ट वाड्रा द्वारा खरीदी गई संपत्ति में मनोज अरोड़ा की अहम भूमिका है और उन्होंने इस संपत्ति को खरीदने में वाड्रा की मदद की है. दूसरी तरफ अग्रिम जमानत याचिका में मनोज अरोड़ा ने आरोप लगाया था कि विदेश में संपत्तियों की खरीद से जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में ईडी उन पर उनके नियोक्ता रॉबर्ट वाड्रा को गलत तरीके से फंसाने का दबाव बना रही है.
वाड्रा की स्काईलाइट हॉस्पिटैलिटी कंपनी में काम करने वाले अरोड़ा ने यह भी आरोप लगाया था कि पूछताछ के लिए उनकी पत्नी जांच एजेंसी के सामने पेश हुई थीं और ईडी अधिकारियों ने वाड्रा को फंसाने के लिए उन्हें धमकाया था.कहा था कि ऐसा नहीं किया तो उनके पति और परिवार का भविष्य खराब कर देंगे.
मनी लॉन्ड्रिंग केस: रॉबर्ट वाड्रा को नहीं होगी जेल
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