दिल्ली के निहाल विहार में रविवार को सात साल की बच्ची का शव मिलने के मामले में पुलिस ने सोमवार को पिता-पुत्र को गिरफ्तार किया है। इनकी पहचान 52 साल के रामशरण एवं 20 साल के राजेंद्र के तौर पर हुई है। जांच में सामने आया है कि राजेंद्र ने बच्ची का अपहरण कर दुष्कर्म किया था। वहीं, रामशरण ने बेटे के गुनाह को छिपाने के लिए हत्या के बाद शव को फेंकने में उसकी मदद की थी।
पुलिस के अनुसार, सात साल की बच्ची शनिवार रात से लापता थी, जिसकी लाश रविवार को गंदे नाले के पास से बरामद की गई थी। बच्ची के हाथ-पैर बंधे हुए थे। मामले की जांच के लिए एसएचओ धर्मपाल की देखरेख में टीम गठित की गई। बीट हेडकांस्टेबल कृष्णन राठी एवं वीरेंद्र ने आसपास के लोगों से पूछताछ की तो पता चला कि शनिवार को बच्ची को राजेंद्र के साथ देखा गया था। बाद में पिता-पुत्र को एक बैग लेकर जाते हुए देखा गया। इस सूचना पर पुलिस ने दोनों से पूछताछ की तो सारा मामला सामने आ गया।
पिता की शह पर हत्या: राजेंद्र मजदूरी करता है। शनिवार को नशे की हालत में वह बच्ची को लेकर अपने घर गया। दुष्कर्म करते वक्त रामशरण वहां पर पहुंच गया। उसने कहा कि बच्ची पड़ोस की है और गिरफ्तारी तय है। पिता की शह पर राजेंद्र ने बच्ची की गला घोटकर हत्या कर दी। फिर पिता-पुत्र ने लाश को बैग में रखकर फेंक दिया। घर आने पर उन्हें बच्ची के जिंदा होने की शंका हुई तो वापस जाकर उन्होंने उसके सिर पर ईंट से प्रहार भी किया।