मुंबई। प्रेक्षा फाउंडेशन के तत्वावधान में प्रेक्षाध्यान योग साधना केंद्र अशोक नगर कांदिवली मुंबई एवं प्रेक्षा वाहिनी कांदिवली मुंबई द्वारा प्रेक्षा दिवस पर एक सुंदर और सुव्यवस्थित कार्यशाला का आयोजन किया गया कार्यक्रम का शुभारंभ सभी केंद्रों के प्रशिक्षक प्रशिक्षिकाओं ने अपनी प्रेक्षा गीत की समधुर स्वर लहरियों से किया।
मंगल भावना हेमा बहन योगिनी बहन ने करवाई बाद में केंद्र के संचालक एवं निर्देशक वरिष्ठ प्रेक्षा प्रशिक्षक पारस दुगड ने आसन प्राणायाम करवाएं। श्री दुगडजी ने अपने वक्तव्य में कहा प्रेक्षाध्यान केवल शारीरिक स्वास्थ्य के लिए करेंगे10 प्रतिशत लाभ मिलेगा मानसिक स्वास्थ्य के लिए करेंगे तो 25% लाभ मिलेगा और भावात्मक शुद्धि के लिए चित्त की निर्मलता के लिए करेंगे तो अच्छा लाभ मिलेगा साथ में शारीरिक स्वास्थ्य मानसिक स्वास्थ्य अपने आप मिल जाएगा।
प्रेक्षा ध्यान साधना से हमारे कषाय कितने कम हुए हैं लोभ कितना कम हुआ है राग द्धेष कितना कम हुआ है क्रोध कितना कम हुआ है इसका लेखा-जोखा करना चाहिए । जोशना बेन कविता बेन मधुर गीत की प्रस्तुति दी। शान्ता बहन ने प्रेक्षाध्यान के प्रश्न पूछे। लोगों ने बड़े उत्साह से इस में भाग लिया। रीटा सरावगी शगुनबेन ने कहानी के माध्यम से प्रेक्षा ध्यान का महत्व समझाया विमला जी दूगड़ ने बहुत ही सुव्यवस्थित ढंग से संचालन किया तथा लेश्या ध्यान का प्रयोग करवाया अंत में संकल्प भी करवाया।
अशोक भाई प्रेक्षा ध्यान के ऊपर सुंदर कविता प्रस्तुत की। कार्यक्रम को सफल बनाने में महेंद्र भाई नारी चनिया भागवत जोशी देवेंद्र पामेचा अनिल भाई महेश भाई परेश भाई विमला पटेल इलाबेन आदि कार्यकर्ताओं का अच्छा सहयोग रहा
प्रेक्षाध्यान योग साधना केंद्र अशोक नगर कांदिवली में प्रेक्षा दिवस पर कार्यशाला का आयोजन
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