नई दिल्ली:भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या ने ब्रिटेन के उच्च न्यायालय में अपने प्रत्यर्पण के खिलाफ अपील करने को लेकर फिर आवेदन किया है। माल्या की यह भारत को उसके प्रत्यर्पण के खिलाफ एक और कोशिश होगी। माल्या 9,000 करोड़ रुपये के धोखाधड़ी और मनी लांड्रिंग मामले में भारत में वांछित है।
भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या को लगता है कि अगर वह इंडिया आ गए तो उन्हें बलि का बकरा बना दिया जाएगा। विजय माल्या ने जस्टिस विलियम डेविस की कोर्ट में यह दलील दी जिसे खारिज बाद में कर दिया गया। ब्रिटेन के गृह मंत्री साजिव जावेद ने वेस्टमिन्स्टर मजिस्ट्रेट अदालत के फरवरी में माल्या को भारत प्रत्यर्पित करने के आदेश पर हस्ताक्षर के बाद 63 वर्षीय कारोबारी ने इस आदेश के खिलाफ सुनवाई को लेकर उच्च न्यायालय में आवेदन किया था। विजय माल्या की दलीलें खारिज होने से उनकी परेशानी और बढ़ गई है।
इससे पहले ब्रिटेन उच्च न्यायालय ने माल्या के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के लिए उन्हें भारत को सौंपने के ब्रिटेन सरकार के आदेश के खिलाफ अपील की मंजूरी देने से इनकार कर दिया। माल्या पर भारत में 9,000 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी और मनी लांड्रिंग के आरोप हैं।
न्यायाधीश विलियम डेविस ने पांच अप्रैल 2019 को अपील की मंजूरी के लिये आवेदन को अस्वीकार कर दिया था। विजय माल्या के पास मौखिक रूप से विचार के लिये आग्रह करने को लेकर पांच दिन थे। अगर वह फिर से करते तो, उसे उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के समक्ष सूचीबद्ध किया जाएगा और सुनवाई के दौरान उस पर निर्णय किया जाएगा। आवेदन एकल पीठ के समक्ष दिया गया था। न्यायाधीश को दिये गये दस्तावेज के आधार पर निर्णय करना था। न्यायाधीश डेविस ने दस्तावेज पर गौर करने के बाद शराब व्यवसायी के आवेदन को खारिज कर दिया। अब माल्या के पास नये सिरे से आवेदन करने का ही विकल्प है।
पिछले सप्ताह ही उन्होंने अपनी शानो-शौकत की जिंदगी में कटौती की पेशकश की। इसका मकसद उन भारतीय बैंकों को संतुष्ट करना था जो माल्या के ऊपर किंगफिशर एयरलाइन के बंद होने से करीब 9,000 करोड़ रुपये के बकाया की वसूली में लगे हैं। माल्या के मामले में पैरवी कर रही विधि कंपनी डीडब्ल्यूएफ लॉ एलएलपी के भागीदार जोनाथन इसाक ने कहा कि माल्या भारत में कानूनी प्रक्रिया को समर्थन देने को लेकर जो भी कर सकते हैं, कर रहे हैं ताकि बैंकों का पैसा लौट सके। माल्या मार्च 2016 से लंदन में हैं और प्रत्यर्पण वारंट को लेकर फिलहाल जमानत पर हैं।